मिथ्या विज्ञापन किसे कहते हैं ?
(Stunt Advertising)
मिथ्या विज्ञापन से तात्पर्य कंपनियों के द्वारा उनके क्रय को बढ़ाने के उद्देश्य से उनके द्वारा उत्पादित वस्तुओं एवं सेवाओं के संदर्भ में तमाम तरह की झूठी एवं गलत सूचनाओं को ग्राहक तक पहुंचाने से है ।
जब कोई कंपनी मिथ्या विज्ञापन करती है तो वह उत्पादित वस्तुओं एवं सेवाओं के संदर्भ में झूठी बातों का प्रचार करती है जिसका उस वस्तु की गुणवत्ता, रंग, वजन आदि से कोई संबंध नहीं होता है । ऐसा कंपनियों के द्वारा ग्राहकों को धोखा देने के उद्देश्य से किया जाता है । ऐसे ग्राहक जो कम खर्च करके अच्छी वस्तु की इच्छा करते हैं या जो छूट के पीछे भागते हैं वे कंपनियों के इस प्रकार के झांसे में आ जाते हैं और अंततः ठगे जाते हैं ।
उदाहरण के तौर पर बड़ी बड़ी कंपनियों का नाम लेकर अलग वस्तु का बेचा जाना समझा जा सकता है । आपने देखा होगा कि आप किसी कम्पनी से कोई टीवी ऑर्डर करते हैं और प्लास्टिक का टीवी आता है । यह भी मिथ्या विज्ञापन के कारण ही होता है । त्यौहारों के मौसम में ऐसा अधिकतर होता है ।
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